वाराणसी (UTTAR PRADESH)। समाजवादी पार्टी ने उत्तर प्रदेश में अकेले दम पर चुनाव लड़ने का मन बना चुकी है। पार्टी ने लोस चुनाव के लिये प्रत्याशियों की तीसरी लिस्ट जारी कर दी है। जिसमे सबसे दिलचस्प बात यह है कि अखिलेश यादव ने वाराणसी सीट से अपना प्रत्याशी उतार दिया है।
वाराणसी वही सीट है, जहां से कांग्रेस के यूपी प्रदेश अध्यक्ष अजय राय आते हैं। सपा ने वाराणसी से सुरेंद्र सिंह पटेल को उम्मीदवार बनाया है। बता दें कि वाराणसी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का संसदीय क्षेत्र भी है। नरेंद्र मोदी दूसरी बार यहां से सांसद चुने गए हैं।
सूत्र बताते हैं कि यूपी मे सपा कांग्रेस अलग-अलग चुनाव लड़ेंगी। सूत्रों ने यह भी बताया कि दोनों दलों के बीच सीटों के बंटवारे को लेकर बातचीत बंद हो गई है। सूत्रों के अनुसार सपा की ओर से दिए गए ऑफर में अमेठी, रायबरेली, वाराणसी, अमरोहा, बागपत, सहारनपुर, गौतम बुद्ध नगर, गाजियाबाद, बुलंदशहर, फतेहपुर सीकरी, हाथरस, झांसी, बाराबंकी, कानपुर, सीतापुर, कैसरगंज और महाराजगंज सीट शामिल थी। लेकिन कुछ ऐसी सीटें भी थी जिसको लेकर दोनों पार्टियों के बीच मतभेद जारी था।
UP में INDIA गठबंधन खत्म!
उत्तर प्रदेश में इंडिया गठबंधन का अस्तित्व लगभग खत्म हो गया है। कांग्रेस और सपा के बीच सीट बंटवारे को लेकर पेंच फंसा हुआ है। सपा प्रमुख अखिलेश यादव ने भारत जोड़ो यात्रा में शामिल होने से पहले कांग्रेस के सामने शर्त रख दी है। उन्होंने कहा है कि कांग्रेस पहले सीटों के मुद्दे पर अपना रुख बताए।
उसके बाद ही वह भारत जोड़ो यात्रा में शामिल होंगे। अखिलेश कांग्रेस को चेतावनी दे रहे हैं कि अगर तीन तीन दिन में सीटों के बंटवारे पर अपना निर्णय सुनाए। अखिलेश ने ऑफर की 17 सीटें अखिलेश यादव ने कांग्रेस को उत्तर प्रदेश में 17 सीटों पर चुनाव लड़ने का ऑफर दिया है। इससे पहले उन्होंने 15 सीटों पर चुनाव लड़ने का ऑफर दिया था।
वहीं कांग्रेस 20 से अधिक सीटों पर चुनाव लड़ना चाहती है। सूत्रों के मुताबिक, अखिलेश यादव मानते हैं कि कांग्रेस के पास उत्तर प्रदेश में ज्यादा जमीन नहीं बची है। सीटों के बंटवारे पर चर्चा जारी उधर, कांग्रेस महासचिव केसी वेणुगोपाल ने मंगलवार को मीडिया से बात करते हुए कहा कि उत्तर प्रदेश में सीटों के बंटवारे को लेकर बातचीत चल रही है और किसी भी वक्त सीटों के बंटवारे का ऐलान किया जा सकता है। उन्होंने इस बात से इनकार किया है कि यूपी में इंडिया गठबंधन टूट चुका है। दरअसल, राहुल गांधी की भारत जोड़ो यात्रा इन दिनों उत्तर प्रदेश में हैं।