NEW DELHI (नई दिल्ली)। लेखिका अरुंधति रॉय और शेख शौकत हुसैन के खिलाफ केस चलाने की मंजूरी दिल्ली के उपराज्यपाल वीके सक्सेना ने दे दी है। इन दोनों पर 2010 में सार्वजनिक मंच से देश विरोधी भाषण देने का आरोप है। उपराज्यपाल कार्यालय ने मंगलवार को मामले को चलाने के लिए मंजूरी दी है।
कार्यालय ने कहा है कि कश्मीर केंद्रीय विश्वविद्यालय के अंतर्राष्ट्रीय कानून के पूर्व प्रोफेसर डॉ. हुसैन और अरुंधति रॉय के खिलाफ दिल्ली में एक सार्वजनिक समारोह में उनके दिए गए भाषणों के लिए आईपीसी की धारा 153ए, 153 बी और 505 के अंतर्गत अपराध बनता है। इस मामले में मेट्रोपॉलिटन मजिस्ट्रेट नई दिल्ली की अदालत के 27 नवंबर, 2010 के आदेश के तहत मामला दर्ज किया गया था। इसे कश्मीर के एक सामाजिक कार्यकर्ता सुशील पंडित दर्ज कराया था।
उपराज्यपाल कार्यालय ने बताया है कि मामला राजद्रोह से संबंधित है फिर भी आईपीसी की धारा 124 ए के तहत मुकदमा की मंजूरी नहीं दी गई है। उच्चतम न्यायालय ने पांच मई 2022 को धारा 124ए (देशद्रोह) के तहत तय आरोप, लंबित मुकदमें और अपील की कार्यवाही को स्थगित कर दिया था।
अभी संविधान पीठ के पास लंबित है। ऐसे में इस धारा के तहत अभियोजन की मंजूरी नहीं दी जा सकती है। इस मामले के दो अन्य आरोपी कश्मीरी अलगाववादी नेता सैयद अली शाह गिलानी और संसद में हुए हमले के आरोप से बरी और दिल्ली विश्वविद्यालय के व्याख्याता सैयद अब्दुल रहमान गिलानी की मौत हो गई है।